18 सितंबर 2025 को एक विशालकाय एस्टेरॉयड पृथ्वी के बेहद करीब से गुजरने वाला है। नासा के सेंटर फॉर नियर अर्थ ऑब्जेक्ट स्टडीज (CNEOS) और जेट प्रोपल्शन लेबोरेटरी (JPL) ने इस बारे में अलर्ट जारी किया है। इस क्षुद्रग्रह का नाम FA22 है, और यह पृथ्वी से लगभग 842,000 किलोमीटर की दूरी से गुजरेगा, जो चंद्रमा और पृथ्वी की दूरी का लगभग दोगुना है।
FA22: आकार और गति
FA22 का व्यास लगभग 120 से 280 मीटर के बीच होने का अनुमान है, जो दिल्ली की ऐतिहासिक कुतुब मीनार (73 मीटर) से भी बड़ा है। इसकी गति लगभग 38,838 किलोमीटर प्रति घंटा (24,127 मील प्रति घंटा) हो सकती है, जो इसे तेज़ी से यात्रा करने वाला एक विशाल एस्टेरॉयड बनाता है।
खगोलशास्त्रीय महत्व
FA22 सूर्य के चारों ओर लगभग हर 1.85 वर्ष में एक चक्कर पूरा करता है। 18 सितंबर 2025 को यह पृथ्वी के सबसे करीब पहुंचेगा। हालांकि इसके और पृथ्वी के बीच की दूरी बहुत अधिक नहीं है, लेकिन वैज्ञानिकों के अनुसार, इस एस्टेरॉयड के पृथ्वी से टकराने की संभावना नहीं है। नासा इसे "संभावित रूप से खतरनाक" श्रेणी में रखता है, लेकिन फिलहाल इसके टकराने का कोई खतरा नहीं है।
वैज्ञानिकों की निगरानी
शुरुआत में यह स्पष्ट नहीं हो पाया था कि यह एस्टेरॉयड धरती के लिए खतरनाक होगा या नहीं, लेकिन बाद में की गई जांच में यह स्पष्ट हो गया कि इससे धरती को कोई खतरा नहीं है। फिर भी, वैज्ञानिक इस पर कड़ी नजर रखे हुए हैं। गुरुत्वाकर्षण और सौर विकिरण दबाव के कारण एस्टेरॉयड कई बार अपना रास्ता बदल लेते हैं, और ऐसे में उन पर नजर रखना जरूरी होता है।
इस खगोलीय घटना के दौरान, वैज्ञानिकों द्वारा किए गए अध्ययन और निगरानी से हमें न केवल इस एस्टेरॉयड के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी मिल रही है, बल्कि यह भी समझने में मदद मिल रही है कि ऐसे क्षुद्रग्रह हमारे सौर मंडल और पृथ्वी पर किस प्रकार प्रभाव डाल सकते हैं।